सभी आध्यात्मिक जगत की सबसे बेहतरीन ख़बरें
ब्रेकिंग
हर ग्राम पंचायत अपना वॉटर बजट बनाए, बारिश का पानी ज्यादा से ज्यादा सहेजना होगा आध्यात्मिक मार्गदर्शन देकर नशे से दूर रखना और नशामुक्त करना एक बड़ी जिम्मेदारी रैली से सात हजार लोगों ने दिया नशामुक्ति का संदेश पूर्व मुख्य प्रशासिका राजयोगिनी दादी हृदयमोहिनी की दूसरी पुण्यतिथि आज केंद्रीय सामाजिक न्याय और अधिकारिता विभाग तथा ब्रह्माकुमारीज के बीच एमओयू साइन दादीजी लाखों लोगों के लिए प्रेरणास्रोत हैं: डॉ. चौरडिय़ा परमात्मा के अवतरण का महापर्व है महाशिवरात्रि: राजयोगिनी दादी रतनमोहिनी
राजयोगिनी पूर्ण शांता दादी का देहावसान, पंचतत्व में हुई विलीन - Shiv Amantran | Brahma Kumaris
राजयोगिनी पूर्ण शांता दादी का देहावसान, पंचतत्व में हुई विलीन

राजयोगिनी पूर्ण शांता दादी का देहावसान, पंचतत्व में हुई विलीन

मुख्य समाचार

अहमदाबाद के निजी हास्पिटल 6 मई को रात्रि 8.5 मिनट पर ली अंतिम सांस

शिव आमंत्रण,आबू रोड, 7 मई, निसं। ब्रह्माकुमारीज संस्थान के संस्थापक सदस्यों में से एक तथा अतिरिक्त मुख्य प्रशासिका राजयोगिनी दादी पूर्ण शांता का गुरूवार रात्रि 8 बजकर 5 मिनटर पर अहमदाबाद के एक निजी हास्पिटल देहावसान हो गया। वे 93 वर्ष की थी कुछ समय से अस्वस्थ थी जिनका इलाज चल रहा था। उनके पार्थिव शरीर को शुक्रवार को सुबह संस्थान के अन्तर्राष्ट्रीय मुख्यालय शांतिवन लाया गया। सरकार के गाइडलाइन के तहत आमथला स्थित मोक्षधाम में अंतिम संस्कार कर दिया गया।
1 मई, 1928 में हैदराबाद सिंध में जन्मी राजयोगिनी ईशू दादी 7 साल की उम्र में ही अपने माता पिता के साथ इस संस्थान के सम्पर्क में आयी। इसके बाद फिर वह पीछे मुडक़र नहीं देखा। उन्हें एकांतवास अत्यधिक प्रिय था। वे बेहद एकानामी, इकानामी तथा ईमानदार थी। इसके कारण संस्थान के साकार संस्थापक प्रजापिता ब्रह्मा बाबा ने उन्हें वित्तिय कारोबार की जिम्मेदारी दी थी। इसके साथ ही उन्हें लिखने पढऩे में बहुत रूचि थी। इसलिए बाबा ने उन्हें परमात्मा शिव के उच्चारे हुए महावाक्यों को लिखने के साथ पठनीय योग्य बनाती थी। तथा अन्य सेवाकेन्द्रोंं पर भेजने का भी कार्य करती थी।
दादी के पार्थिव शरीर को आमथला के मोक्षधाम ले जाया गया जहॉं ब्रह्माकुमारीज संस्थान के कार्यकारी सचिव बीके मृत्युंजय, मेडिकल प्रभाग के सचिव बीके डॉ बनारसीलाल शाह, शांतिवन प्रबन्धक बीके भूपाल, राजयोगिनी बीके उषा, बीके सविता समेत कई लोगों ने उन्हें पुष्पांजलि अर्पित कर अंतिम विदायी दी। संस्थान प्रमुख राजयोगिनी दादी रतनमोहिनी ने पुष्पांजलि अर्पित कर भावभीनी श्रद्धांजलि दी।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *