- डायबिटीज रिवर्स रिट्रीट जारी, प्रतिभागियों को सिखाए जा रहे स्वस्थ रहने के टिप्स
शिव आमंत्रण,आबू रोड। कहा जाता है जैसा खाओगे अन्न, वैसा होगा मन। अन्न का हमारे मन पर सबसे ज्यादा असर होता है। इसलिए हमेशा भोजन ईश्वर की याद में ही करना चाहिए। बिना बात किए और मौन में भोजन करना चाहिए। प्रभु की याद में किया भोजन प्रसाद बन जाता है और प्रसाद खाने से कोई बीमार नहीं होता है। जब हम भोजन करते समय बात करते हैं तो साथ में ऑक्सीजन पेट में चली जाती है, इससे पेट में एसिडिटी और गैस बनती है, अपच होता है। हमेशा खुश होकर भोजन करें, मन शांत रखें। कभी भी गुस्सा, चिड़चिड़ाहट, डर, भय की स्थिति में भोजन नहीं करना चाहिए। क्योंकि ऐसी स्थिति में भोजन करने से शरीर में टॉक्सिन बनते हैं जो बीमारियों को पैदा करते हैं।
उक्त बात कैड प्रोग्राम की एसोसिएट डायरेक्टर बीके बाला बहन ने कही। वह ब्रह्माकुमारीज़ संस्थान के मनमोहिनीवन स्थित ग्लोबल ऑडिटोरियम में आयोजित सात दिवसीय डायबिटीज रिवर्स रिट्रीट को संबोधित कर रहीं थीं। इस दौरान आपने डायबिटीज रिवर्स करने और कंट्रोल करने के लिए जरूरी टिप्स बताए।
बीके बाला बहन ने कहा कि सुबह सबसे पहले रात में भिगोकर रखे ड्राईफ्रूट्स खाना चाहिए। इसके बाद सुबह 9 बजे तक अंकुरित अनाज ले सकते हैं। सुबह 11 से 11.30 बजे तक कोई भी मौसमी फल खा सकते हैं। इसके बाद दोपहर 1 बजे ईसबगोल लेना चाहिए। इसके बाद दोपहर में भोजन के पहले भरपूर मात्रा में सलाद खाना चाहिए। साथ ही भोजन में छाछ या दही जरूर शामिल करें। शाम 5 से 5.30 बजे तक पपीता, तरबूज आदि फल 300 ग्राम की मात्रा में खा सकते हैं। इसके बाद शाम 7 बजे सब्जियों का सूप और रात 8 बजे तक हल्का भोजन, मिलेट्स की खिचड़ी आदि लेने से डायबिटीज कंट्रोल में रहती है। साथ ही संतुलित दिनचर्या, व्यायाम, मेडिटेशन अपनाकर प्री-डायबिटीज को रिवर्स कर सकते हैं।
सिर्फ सुबह के व्यायाम से काम नहीं चलेगा-
उन्होंने कहा कि लोग सामान्यत: सुबह व्यायाम करने के बाद सोचते हैं कि अब दिनभर कुछ करने की जरूरत नहीं है, जबकि ऐसा नहीं है। जैसे हम दिन में तीन-चार बार भोजन करते हैं वैसे ही शरीर के लिए दिनभर मूवमेंट जरूरी है। सुबह के अलावा बीच-बीच में कुछ चहलकदमी जरूर करें। लिफ्ट की जगह सीढ़ियों का इस्तेमाल करें। ऑफिस वर्क के बीच कुछ कदम जरूर चलें। साथ ही सुबह के अलावा शाम को भी वॉक करें। डॉक्टर्स का कहना है कि शुगर का मरीज यदि एक चम्मच चीनी खाता है तो उसे दो किमी पैदल चलना चाहिए।
40 की उम्र के बाद हो जाएं सतर्क-
यदि आप 40 साल की उम्र पार कर चुके हैं तो आज से ही सतर्क हो जाएं। क्योंकि इसके बाद आपकी आदर्श दिनचर्या होना बहुत जरूरी है। अपना सोने से लेकर जागने का एक रुटीन बनाएं और उसे फॉलो करें। भोजन के संयम, तनावमुक्त जीवन, खुशनुमा जीवन और व्यायाम के रुटीन को पूरी तरह से फॉलो करके ही डायबिटीज रिवर्स कर सकते हैं। कैड प्रोग्राम के डायरेक्टर बीके डॉ. सतीश गुप्ता ने हृदय रोग से बचने के उपाय बताए। उन्होंने कहा कि यदि यहां अपने हार्ट को खोलते रहेंगे अर्थात् सदा खुश रहेंगे तो डॉक्टर से खुलवाने की जरूरत नहीं पड़ेगी। खुश रहने से हमारी बॉडी से टाक्सिन बाहर निकलते हैं और बीमारी पैदा करने वाले टॉक्सिन नहीं बनते हैं।