राजयोग, ध्यान, व्यायाम और दवाईयों से शत प्रतिशत ठीक हो रहे मरीज
आबू रोड, 13 सितम्बर, निसं। तर्वमान समय कोरोना से पूरे विश्व के लोग प्रभावित है। भारत में भी विकराल रुप धारण कर चुका है। राजस्थान के सिरोही में भी तेजी से कोरोना की संख्या तेजी से बढ़ रही है। अब तक सिरोही में कुल कोरोना मरीजों की संख्या में 1861 हो गयी है। जिसमें अब तक सिरोही जिले में एक दर्जन से ज्यादा लोगों की मौत भी हो चुकी है। परन्तु सिरोही जिले में आबू रोड के किवरली स्थित ब्रह्माकुमारीज संस्थान द्वारा दिया गया मानसरोवर आईसोलेसन सेन्टर कोरोना रोगियों के लिए वरदान साबित हो रहा है। यहॉं का रिकवरी रेट 95 प्रतिशत से भी ज्यादा है।
संभाग का सबसे बड़ा आईसोलेसन केन्द्र
सिरोही जिले में कई आईसोलेसन केन्द्र बनाये गये है। इसमें ब्रह्माकुमारीज संस्थान का बड़ा योगदान है। ब्रह्माकुमारीज संस्थान इस मुश्किल की घड़ी में किवरली के समीप मानसरोवर में 8 सौ बेड की क्षमता वाली नवनिर्मित बिल्डिंग जिला प्रशासन को 27 मार्च को उपलब्ध करायी थी। बिल्डिंग का उदघाटन भी नहीं हुआ था फिर भी संस्थान ने मुश्किल की घड़ी में बिना बिलम्बर किये मानवता की सेवा में उपलब्ध करवाया। यह जोधपुर सम्भाग का सबसे बड़ा आईसोंलेसन केन्द्र है।
95 प्रतिशत से भी ज्यादा है रिकवरी रेट: ब्रह्माकुमारीज संस्थान ने इस मानसरोवर आईसोलेसन सेन्टर को 27 मार्च को प्रशासन को सौंपा था। तब से लेकर अब तक 929 कोविड मरीज भर्ती हो चुके हैं। जिसमें से 833 मरीज ठीक होकर अपने घरों को जा चुके हैं। गम्भीर अवस्था में अब तक 29 मरीजों को दूसरी जगहों पर भेजा गया है। सुखद यह है कि अभी तक एक भी करोना मरीज की मौत नहीं हुई है। वर्तमान में 63 मरीजों का इलाज चल रहा है।
ये रहती है दिनचर्या: यहॉं आने वाले कोविड मरीजों की एक दिनचर्या निर्धारित की गयी है। जिससे वे खुद को मेडिकेशन के साथ मेडिटेशन, ध्यान, योगा तथा व्यायाम के साथ दिनचर्या की शुरूआत करते हैं। प्रात: 7 बजे योग और मेडिटेशन क्रिया करते है। फिर 8 से 8.30 बजे तक नाश्ता, दोपहर 12 बजे भोजन, सायं 4 बजे चाय तथा आधे घंटे के बाद काढ़ा फिर रात्रि 8 से 9 बजे के बीच भोजन कर सो जाते हैं। साथ ही ब्रह्माकुमारीज संस्थान ने आध्यात्मिक ज्ञान तथा राजयोग मेडिटेशन की किताबें भी उपलब्ध करायी है। जिससे उनकी सकारात्मक सोच बढ़े।
सात्विक भोजन की व्यवस्था करता है ब्रह्माकुमारीज संस्थान
ब्रह्माकुमारीज संस्थान के मानसरोवर आईसोलेसन केन्द्र में चाहे कोरेन्टीन में रहने वाले लोग हो या कोरोना मरीज, सभी के शुद्धा सात्विक और हैवी डाईट वाले भोजन, चाय व नाश्ते की व्यवस्था ब्रह्माकुमारीज संस्थान की तरफ से किया जाता है।
प्राकृतिक और आध्यात्मिक वातावरण का गहरा प्रभाव: यहॉं स्वच्छता और प्राकृतिक सुन्दरता के साथ आध्यात्मिक वातावरण से मरीजों को काफी लाभ मिलता है।
रात दिन सेवा में लगी रहती है स्टाफ और चिकित्सकों की टीम: यहॉं दो चिकित्सक डॉ सलीम खान तथा डॉ सुरेन्द्र यादव के साथ सुखवीर सिंह तथा 21 का स्टाफ है जो रात दिन पूरी देखभाल में रहता है। यहॉं तीन शिफ्ट मेें सभी लोग अपनी सेवायें देते रहते हैं।
अधिकारियों का पूरा सहयोग: जिला कलेक्टर तथा मुख्य जिला चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी का समय प्रति समय दौरा से चिकित्सकों और मरीजों को सम्बल मिलता है। किसी भी प्रकार की कोई परेशानी नहीं होती है।
ब्रह्माकुमारीज संस्थान का मानसरोवर आईसोलेसन केन्द्र करोना मरीजों के लिए वरदान साबित हो रहा है। जिले में आने वाले हर मरीज यहॉं आना चाहता है। क्योंकि यहॉं का वातावरण, व्यवस्था और सुविधायें अच्छी है और चिकित्सकों की टीम अच्छा कार्य कर रही है।
डॉ राजेश कुमार, जिला मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी, सिरोही
हम और हमारे स्टाफ के लोग लगातार मरीजों के सम्पर्क में रहते हैं। मैने अपना व्यक्तिगत नम्बर प्रत्येक मरीज को दे रखा है ताकि वे लोग किसी भी हालत में तुरन्त सम्पर्क कर सकें। यदि मेरे से कन्टेक्ट नहीं होता है तो हमारी साथी सुखबिर से सम्पर्क करते है और फिर बात कर उनका समाधान करते हैं। यहॉं का आध्यात्मिक वातावरण, ब्रह्माकुमारीज संस्थान का सात्विक भोजन और आध्यात्त्मिक ज्ञान, मेडिटेशन से जल्दी मरीज ठीक हो जाते हैं।
डॉ सलीम खान, चिकित्साधिकारी प्रभारी, ब्रह्माकुमारीज, मानसरोवर आईसोलेसन केन्द्र, किवरली